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रांची

झारखंड में सिपाही भर्ती की दौड़ में अबतक 11 अभ्यर्थियों की मौत

  • 02 Sep 2024

रांची. सरकारी नौकरी पाने की चाह में झारखंड एक्साइज कांस्टेबल भर्ती में फिजिकल टेस्ट देने पहुंचे 11 अभ्यर्थियों की मौत हो गई. पुलिस ने इस मामले में अप्राकृतिक मौत का मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है. बीजेपी की यूथ विंग ने इस मामले में अधिकारियों पर कुप्रबंधन का आरोप लगाया है. 
पुलिस ने रविवार को बताया कि झारखंड में एक्साइज कांस्टेबल की भर्ती के लिए हो रहे फिजिकल टेस्ट के दौरान ग्यारह अभ्यर्थियों की मौत हो गई. 
IG ऑपरेशन अमोल वी होमकर ने कहा कि एक्साइज कांस्टेबल भर्ती के लिए 22 अगस्त से रांची, गिरिहीड, हजारीबाग, पलामू, पूर्वी सिंहभूम और साहेबगंज जिलों के सात केंद्रों पर अभ्यर्थियों के फिजिकल टेस्ट शुरू हुए थे. टेस्ट के दौरान ग्यारह उम्मीदवारों की मौत हो गई.
उन्होंने बताया कि पलामू में चार, गिरिडीह और हजारीबाग में दो-दो अभ्यार्थियों की मौत हो गई, रांची, पूर्वी सिंहभूम और साहेबगंज केंद्रों में एक-एक व्यक्ति की मौत हो गई. अभ्यर्थियों की मौत मामले में अप्राकृतिक मौत के मामले दर्ज किए गए हैं और जांच शुरू कर दी है.
होमकर ने बीजेपी यूथ विंग के आरोपों पर सफाई देते हुए कहा कि सभी केंद्रों पर चिकित्सा दल, दवाएं, एम्बुलेंस, मोबाइल शौचालय और पीने के पानी सहित पर्याप्त व्यवस्थाएं सुनिश्चित की गईं. पुलिस के अनुसार, फिजिकल टेस्ट के लिए 30 अगस्त तक कुल 1,27,772 अभ्यर्थी उपस्थित हुए, उनमें से 78,023 सफल हुए.
झारखंड बीजेपी के अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी हेमंत सरकार पर सवाल उठाते हुए कहा कि जिस तरह से सरकार अभ्यर्थियों को दौड़ (फिजिकल टेस्ट) करा रही है, ऐसा नहीं होता है. अभ्यर्थियों को 3 महीने पहले सूचित किया जाना चाहिए कि उन्हें कब दौड़ना है ताकि वे प्रैक्टिस कर सकें. जब एडमिट कार्ड मिले तो मैंने देखा कि अभ्यर्थियों को 15 दिन के भीतर उन्हें दौड़ लगानी पड़ती थी... कल मैंने अभ्यर्थियों के प्रतिनिधिमंडल के कुछ बच्चों से बात की...उन्होंने कहा कि एक सेंटर में 6000 बच्चों को दौड़ाया जाता है और खड़ा भी किया जाता है. रात 12 बजे से लाइन लगती है और उनका नंबर 12 बजे तक आता है, इसलिए उन्हें नींद नहीं आती... हेमंत सोरेन बच्चों को नौकरी नहीं मौत दे रहे हैं.
साभार आज तक