इंदौर। अयोध्या में 22 जनवरी को रामलला के मंदिर में प्राण-प्रतिष्ठा ही नहीं हो रही, बल्कि यह राम राज्य की पुनर्स्थापना का शंखनाद है। रामराज्य में जिस तरह न कोई दीन था, न कोई दुखी और न ही कोई गरीब। यदि आज एक बार फिर देश में राम राज्य की स्थापना के लिए हम सब अभिलाषी हैं तो सबसे पहले भरत और हनुमानजी जैसे आदर्श चरित्र भी तैयार करना पड़ेगे, तभी राम राज्य की नींव मजबूत बन सकेगी।
युग तुलसी रामकिंकर महाराज की उत्तराधिकारी, रामायणम अयोध्या की प्रमुख एवं कनक भवन की अध्यक्ष दीदी मां मंदाकिनी ने रविवार को स्कीम 51 स्थित माता मंदिर बगीचे में पांच दिवसीय राम कथा महोत्सव के शुभारंभ सत्र में उक्त दिव्य विचार व्यक्त किए। इसके पूर्व संगम नगर स्थित जैन मंदिर के पास, संत निवास से निकली भव्य शोभायात्रा में क्षेत्र के सैकड़ों श्रद्धालु परम्परागत परिधान में भजनों की धुनों पर नाचते-गाते हुए शामिल हुए। शोभायात्रा जैन मंदिर से स्कीम 51 पुलिस चौकी के सामने से महोत्सव स्थल पहुंची, जहां आयोजन समिति की ओर से वरिष्ठ समाजसेवी प्रेचमंद गोयल को मार्गदर्शन में अनूप जोशी, अरविंद गुप्ता, पार्षद पराग कौशल, गोविंदसिंह पंवार, गिरेन्द्रसिंह भदौरिया, सुरेन्द्र वाजपेयी, लोकेश अवस्थी, राहुल लांभाते, अमित बंटू शुक्ला एवं आचार्य श्री अंकित व्यास सहित सैकड़ों बंधुओं ने दीदी मां का स्वागत कर रामचरित मानस का पूजन किया।
इंदौर
दीदी मां मंदाकिनी के सानिध्य मे रामकथा महोत्सव शुरू
- 08 Jan 2024