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DGR विशेष

देश में स्वच्छता का पंच लगाने पर विशेष ...भिया जो चाहा था... वो कर दिखाया ... हमने पंच लगाया...

  • 22 Nov 2021

... पहली बार मिला खिताब तो इसे बरकरार रखना था चुनौती...
... इंदौरियों की एकजुटता और संकल्प से लगातार रहे नंबर 1
इंदौर। भिया यह तो वाकई में बधाई वाली बात है ..., कि हमारे इंदौर शहर ने जो चाहा था... वो कर दिखाया है... आखिर ऐसा हो भी क्यों न, हम इंदौरी इसके हकदार थे... इसके लिए जिला प्रशासन..., नगर निगम... के प्रयास तो रंग लाए ही हैं..., इनके साथ-साथ हर इंदौरी नागरिक भी इसके लिए बधाई का पात्र है..., यह एक ऐसी उपलब्धि है ..., कि प्रदेश के मुखिया यानि मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान भी इंदौरी रंग में रंग गए और कह दिया कि -वाह भिया! छा गया इंदौर...।
मां अहिल्या की पावन नगरी..., मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान के सपना का शहर इंदौर शनिवार को लगातार 5वीं बार देश का सबसे स्वच्छ शहर बन गया...। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद दिल्ली के विज्ञान भवन में इंदौर को नंबर वन शहर, 12 करोड़ का सफाई मित्र और 5 स्टार रेटिंग अवॉर्ड प्रदान किए...। इंदौर की सफाई मित्र इंदिराबाई आदिवाल का भी सम्मान हुआ...। दरअसल जब लगातार पांचवें वर्ष इंदौर को देश का सबसे साफ नगर घोषित किया गया, तो इंदौर के नागरिक चौंके नहीं...। स्वच्छता यहां के रग-रग में इस तरह बस चुकी है कि लोग जानते थे इंदौर अव्वल ही आएगा...। इंदौर की पांचवी बार उपलब्धि शायराना अंदाज में यह भी कहा जा सकता है कि ...
यूं नहीं मिलती मंजिलें और खिताब आसानी से हर किसी को ...।
इसे पाने के लिए एकजुट होकर प्रयास करने होते हैं..., तब मिलता है मुकाम ...।।
वर्ष 2017 से इंदौर देशभर में नंबर-1 पर आया तो  इंदौर के सामने चुनौती थी कि यह खिताब किस तरह बरकरार रखा जाएगा...। सभी को इस बात की चिंता थी कि अब आगे क्या होगा...? क्योंकि अब दूसरी बार इस खिताब को जितने के लिए देश के सारे शहर एड़ी-चोटी का जोर लगा रहे थे...। वहीं नगर निगम, जिला प्रशासन और अन्य सभी शासकीय विभागों के जिम्मेदार अधिकारियों के साथ-साथ हर इंदौरी नागरिक ने भी यह ठान लिया था कि ... इंदौर को यह खिताब हर बार दिलवाना है...। हम सभी के दृढ़ निश्चय का ही परिणाम है कि ... एक बार फिर से इंदौर ने स्वच्छता में नंबर 1 का खिताब बरकरार रखते हुए न केवल पंच लगाया है..., बल्कि अनेक इनाम भी जीते हैं...।  
इंदौर की इंदिरा दिखेंगी राष्ट्रपति भवन में
इंदौर की महिला सफाईकर्मी इंदिरा दीदी पर डॉक्यूमेंट्री बनाई गई हैं...। नाम द हीरो विथ इन दिया गया हंैं...। इस डॉक्यूमेंट्री का चयन न्यूयॉर्क इंडियन फिल्म फेस्टिवल के लिए हुआ हैं...। इंदिराबाई नगर निगम की सबसे मेहनती सफाईकर्मियों में से एक हैंं...। वह रामबाग और नारायणबाग के इलाके में 24 साल से बिना अवकाश लिए सफाई का जिम्मा संभाल रही हैंं...। इंदिरा की सबसे बड़ी विशेषता यह है की सफाई के साथ ही वह हर दिन सुबह 4 बजे से घरों के बाहर रंगोली भी बनाती हैंं...।
इस बार नदी से मिली जीत...
इंदौर ने 21.3 किमी लंबी कान्ह व 12.4 किमी की सरस्वती नदी व 6 प्रमुख नालों सहित 137.28 किमी में बहने वाले सीवरेज को प्रोसेस कर नदी को पुनर्जीवित कर दिया...। इस पर 343.2 करोड़ खर्च हुए...। नालों में अब गंदगी नहीं बहती...। इसी का नतीजा है कि गत दिनों 41 साल बाद सरस्वती के तट पर लोग कार्तिक पूर्णिमा पर दीपदान करते नजर आए...।
पासपोर्ट फोटो ... सीएम का ...
सीएम का इंदौरी अंदाज...
मध्यप्रदेश को कुल 35 अवॉर्ड मिले हैं...। इंदौर के पांचवीं बार टॉप रहने पर मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का इंदौरी अंदाज दिखा...। उन्होंने ट्वीट किया- वाह भिया! छा गया अपना इंदौर...।
इन्होंने लिया अवार्ड ...
इंदौर का अवॉर्ड लेने के लिए नगरीय प्रशासन मंत्री भूपेंद्र सिंह, इंदौर सांसद शंकर लालवानी, विभाग के प्रमुख सचिव मनीष सिंह, इंदौर कलेक्टर मनीष सिंह, इंदौर निगमायुक्त प्रतिभा पाल आदि दिल्ली पहुंचे थे...। भोपाल से भी कई जनप्रतिनिधि और अधिकारी कार्यक्रम में शामिल हुए...।
सफाई में इंदौर के पंच का सफर...
35 लाख की आबादी वाले इंदौर ने सफाई में रोल मॉडल बनने की शुरूआत सड़क सफाई से की...। मुहिम डोर-टू-डोर कचरा कलेक्ट करने तक बढ़ी और 2017 में पहली बार इंदौर ने देश के सबसे साफ शहर का खिताब जीता...। 2020 आते-आते इंदौर साफ-सुथरा तो हो ही चुका था, अब बारी थी कचरे से कमाई की...।
सालाना डेढ़ करोड़ की कमाई ...
इस साल इंदौर में कचरे को रीसाइकिल कर खाद बनाने की शुरूआत की गई...। इसे किसानों और बागवानी करने वालों को बेचा गया..., इससे नगर निगम ने सालाना डेढ़ करोड़ की कमाई की...। 2021 में इंदौर में कचरे से गैस बनाना शुरू हुआ...। इस साल कचरे से 20 करोड़ रुपए साल भर में कमा लिए...। वॉटर प्लस के साथ इंदौर ने गारबेज फ्री सिटी का खिताब भी अपने नाम किया...।
कचरे की प्रोसेसिंग से इस तरह कमाई
स्लज-सीवरेज ट्रीटमेंट के बाद बचने वाले स्लज को खाद बनाकर बेचने से 2 करोड़ सालाना कमाई...।
गीला कचरा-700 टन प्रतिदिन गीला कचरा निकलता है। इससे खाद और बायोमिथेनाइजेशन प्लांट से आमदानी 7 करोड़ रुपए सालाना है...।
सीखा कचरा-रोजाना 450 टन सूखा कचरा निकल रहा है। इसे प्रोसेस कर रही कंपनी निगम को सालाना 2 करोड़ रुपए दे रही है...।
सीएंडडी वेस्ट-कंस्ट्रक्शन एंड डिमोलिशन वेस्ट (मलबे) से ब्लॉक बनाकर निगम को इस साल 25 लाख की आमदनी हुई...।
कार्बन क्रेडिट-8.34 करोड़ की कमाई कार्बन उत्सर्जन रोकने से हुई। 1.70 लाख कार्बन क्रेडिट कमाए...।
2020 में देवगुराडिय़ा में ट्रेंचिंग ग्राउंड पर कचरे के पहाड़ को 8949 सफाईकर्मियों के प्रयासों से खत्म कर दिया गया। इसके मॉडल को दिल्ली ने भी अपनाया है...।
2020 में देवगुराडिय़ा में ट्रेंचिंग ग्राउंड पर कचरे के पहाड़ को 8949 सफाईकर्मियों के प्रयासों से खत्म कर दिया गया। इसके मॉडल को दिल्ली ने भी अपनाया है...।
इंदौरी होने पर अभिमान ...
इंदौर की जीत के पीछे सबसे महत्वपूर्ण कारण नागरिकों में सफाई के प्रति गर्व और गंदगी के प्रति शर्म का भाव पैदा होना है...। कचरा फेंकने, पान की पीक थूकने वालों को शहर ने सामाजिक अपराधी की तरह अपमानित किया...। प्रसिद्ध पार्श्वगायक शान से इंदौर को समर्पित एक गाना गवाया और शहर की हर कचरा गाड़ी पर वह बजने लगा...। इससे लोगों का स्वाभिमान भी जागा और कचरा गाड़ी अपने क्षेत्र में आने की सूचना भी मिलने लगी...। लोग इंदौरी होने पर अभिमान करने लगे और देश का सबसे स्वच्छ शहर बनाने को चुनौती की तरह लिया...।
स्वच्छता को आदत बना लिया.
ट्रेंचिंग ग्राउंड से चार दशक पुराने कचरे के पहाड़ को हटाया और वहां खूबसूरत गार्डन बना दिया...। पहले जहां कचरा बदबू मारता था, अब लोग वहां टिफिन पार्टी करने लगे...। ऐसे प्रतीकात्मक चित्रों का जमकर प्रचार-प्रसार किया गया तो लोग पहले चौंके और फिर स्वच्छता को आदत बना लिया...। अब यहां महंगी लक्जरी कार हो या सामान्य आटोरिक्शा, लोग अपनी गाड़ी में डस्टबिन रखते हैं और उसी में कचरा डालते हैं...।
सभी ने निभाई अपनी भूमिका ...
शहर में जिला प्रशासन..., नगर निगम..., जनप्रतिनिधि..., सफाई योद्धा..., मीडिया..., स्वयंसेवी संस्थाएं और नागरिक..., सबने अपनी भूमिका निभाई...। हर किसी की चाह थी कि इंदौर सफाई में पंच लगाए...। इसके लिए खुले में कचरा फेंकने वाले... होटलों पर जुर्माने की कार्रवाई की और अनेक के चालान बनाए गए...। वहीं सफाईपसंद नागरिकों को सम्मानित किया गया...।