विभागों के बंटवारे के साथ प्रमुख सचिवों को मंत्री स्टाफ की चिंता, पुराने स्टाफ से मांग रहे जानकारी
भोपाल। मोहन कैबिनेट के विस्तार के बाद हुई पहली कैबिनेट बैठक में मंत्रियों के बैठने के लिए तय स्थानों पर नाम पट्टिका नहीं लगी होने का मामला सामने आया है। इसके बाद जीएडी अफसरों ने आनन-फानन में नाम पट्टिका तैयार कराई है। दूसरी ओर मंत्रियों के लिए अभी विभागों का बंटवारा होना बाकी है लेकिन इस बीच मंत्रालय में पदस्थ प्रमुख सचिवों की चिंता बढ़ गई है। ये अधिकारी अब मंत्रियों के विभाग तय होने के बाद वहां पदस्थ किए जाने वाले स्टाफ और सुविधाओं को लेकर अधीनस्थों से जानकारी जुटा रहे हैं।
खासतौर पर जिन विभागों के प्रमुख सचिवों ने पूर्व में मंत्रियों के स्टाफ की व्यवस्था का काम नहीं कराया है वे इसको लेकर ज्यादा सतर्क हैं। राज्य शासन के सभी 52 विभागों के लिए मंत्रियों के नाम का ऐलान आज कल में होना है। इसे देखते हुए मंत्रालय में विभाग के प्रमुख सचिव या सचिव की जिम्मेदारी निभा रहे आईएएस अधिकारियों ने जीएडी और पूर्व मंत्रियों के स्टाफ में रहे कर्मचारियों व अधिकारियों से यह जानकारी जुटाना शुरू कर दिया है कि मंत्री स्टाफ में किस स्तर के अधिकारी कर्मचारी रहते हैं। उन्हें कितने लैपटाप, कम्प्यूटर, स्टेनोग्राफर, टाइपिस्ट और अन्य स्टाफ दिए जाते हैं। इसके अलावा फर्नीचर, स्टेशनरी, एसी और अन्य सुविधाजनक सामग्री के बारे में भी अधिकारी जानकारी जुटा रहे हैं।
जीएडी को भी विभाग वितरण का इंंतजार
दूसरी ओर जीएडी के अफसरों का कहना है कि अभी दो उप मुख्यमंत्रियों के स्टाफ के लिए कुछ कर्मचारियों की तैनाती की गई है और जब विभाग तय हो जाएंगे तो मंत्रियों की पसंद के अलावा विभागों से उनके लिए स्टाफ उपलब्ध कराए जाएंगे। इसके लिए मंत्रियों द्वारा जो सुविधा मांगी जाएगी वह विभाग की ओर से भी दी जाएगी और जीएडी के माध्यम से उनकी स्टाफ में तैनाती होगी। मंत्रियों के स्टाफ के साथ अन्य व्यवस्थाओं के लिए भी विभाग काम करेंगे।
कैबिनेट कक्ष में लगाई नाम पट्टिका
सोमवार को शपथ के बाद अगले ही दिन कैबिनेट बैठक बुलाए जाने के मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव के फैसले के बाद जीएडी अफसरों ने मौके की गंभीरता को भांपते हुए कैबिनेट की बैठक के तुरंत बाद कैबिनेट कक्ष में मुख्यमंत्री, मुख्य सचिव और मंत्रियों के नाम की पट्टिका लगा दी है। इसके लिए आनन-फानन में पट्टिका मंगाकर कुर्सियों के सामने लगाई गई है ताकि अगली बैठक होने पर मंत्रियों को अपनी वरिष्ठता क्रम के आधार पर सीट तलाशने में दिक्कत न हो।
भोपाल
पहली कैबिनेट में बैठने को लेकर बना असमंजस, अफसरों ने आनन-फानन में नाम पट्टिका तैयार कराई
- 27 Dec 2023