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इंदौर

बादलों की बेरुखी ने किसानों की बढ़ाई चिंता

  • 04 Jul 2021

बारिश नहीं होने से सोयाबीन के पौधे खराब होने के कगार पर
इंदौर। मालवा-निमाड़ में रोजाना बादल आकर गुजर रहे हैं, लेकिन बादलों की बेरुखी साफ दिखाई दे रही है। इसका असर हजारों एकड़ में बोई गई फसल पर पड़ रहा है। किसानों की माने तो कुछ ने पहले पानी के बाद और कुछ ने अभी बोनी शुरू की है, पौधे भी निकलने लगे हैं, कहीं 15 तो कहीं 10 दिन का पौधे बाहर आ गए हैं। अगर 4-5 दिन में बारिश नहीं हुई तो दोबारा बुआई करनी पड़ सकती है। दैनिक भास्कर की टीम इंदौर से 30 किलोमीटर दूर उस क्षेत्र में पहुंची जहां किसानों की परेशानी जानने की कोशिश की।
किसानों का कहना है कि जुलाई महीने की शुरूआत हो गई है। लेकिन बारिश के कोई आसार नहीं दिखाई दे रहे हैं। बुआई के लिए भी एक पखवाड़े से ज्यादा का वक्त हो गया है, लेकिन बारिश नहीं होने से जमीन की नमी लगातार खत्म हो रही है। यदि एक-दो दिन और पानी नहीं गिरता तो सोयाबीन सहित दूसरे फसलें खत्म हो जाएंगी। किसान गांवों में अच्छी बारिश की मिन्नतें कर रहे हैं। किसानों का कहना है कि जून में जो बारिश हुई है, वह इतनी नहीं है कि उससे जलस्रोत भर गए हों, यदि वही भरे होते तो ऐसे किसान सिंचाई कर लेते, जिनके पास सिंचाई के साधन हैं, लेकिन जून के शुरूआती दिन में बारिश हुई। उनसे जलस्रोत भी खाली हैं। कोरोना के चलते पहले ही व्यापार में मंदी छाई हुई है। इस साल सोयाबीन का बीज भी महंगा है। यदि जल्द बारिश नहीं हुई तो किसानों को फिर दोहरी मार झेलनी पड़ सकती है। मानसून की बारिश में थोड़ा बहुत पानी एकत्र हुआ है। इससे क्षेत्र की हजारों एकड़ फसल की पूर्ति करना मुश्किल है।