जबलपुर। जबलपुर में एक गेहूं खरीदी समिति ने किसानों को 27 लाख रुपए की चपत लगा दी। इस समिति पर किसानों की उपज अधिक तौलने के बाद कम वजन दिखाया जा रहा था। इसके अलावा बारदाना की सिलाई, तुलाई के नाम पर 25 से 50 रुपए वसूले जाते थे। मामले की शिकायत पर जांच हुई तो 27 लाख रुपए का गोलमाल सामने आया। समिति से जुड़े प्रबंधक सहित तीन के खिलाफ पनागर थाने में एफआईआर दर्ज कराई गई है।
एसडीएम मणिंद्र सिंह ने बताया कि पनागर में आदि शक्ति प्राथमिक महिला आजीविका बहुउद्देश्यीय सहकारी संस्था कुसनेर पिपरिया द्वारा समर्थ हाउस में गेहूं खरीदी का काम किया गया था। समिति की प्रबंधक रजनी दुबे, कर्मचारी बसंत पटेल, विवेक पटेल व रत्नेश पटेल पर किसानों के साथ गोलमाल करने की शिकायत मिली थी।
प्रति बोरा सिलाई के एवज में 25 से 50 रुपए अधिक वसूल रहे थे
शिकायत में समिति के प्रबंधक सहित उक्त कर्मचारियों पर आरोप था कि वे किसानों से प्रति बोरा सिलाई और तुलाई के एवज में 25 से 50 रुपए वसूले जाते थे। इसके अलावा किसानों की उपज की तौल भी कम दर्शायी जाती थी। हर बोरा में अतिरिक्त तौल कराई जाती थी। इस मामले की जांच खाद्य निरीक्षक रोशनी पांडे को सौंपी गई। जांच में प्रबंधक और कर्मचारियों का खेल उजागर हो गया।
27 लाख रुपए की चपत किसानों को लगाई
आरोपियों ने किसानों से बोरा सिलाई और तुलाई के एवज में कुल 17 लाख 75 हजार 310 रुपए वसूले गए। वहीं 469 क्विंटल गेहूं अधिक तौल लिया। इसकी कीमत नौ लाख 26 हजार है। चारों आरोपियों ने इस तरह किसानों से लगभग 27 लाख रुपए की धोखाधड़ी का प्रकरण दर्ज किया। आरोपियों के खिलाफ रबी उपार्जन नीति उल्लंघन का भी प्रकरण दर्ज किया गया है। एसडीएम मणिंद्र सिंह के निर्देश पर आरोपियों के खिलाफ पनागर थाने में धोखाधड़ी का प्रकरण दर्ज किया गया।
जबलपुर
किसानों से ठगी
- 17 Jul 2021