गर्मी के बढ़ते ही चिडिय़ाघर में वन्यप्राणियों के लिए किए ठंडक के इंतजाम
इंदौर। बढ़ती गर्मी के चलते चिडिय़ाघर में वन्यप्राणियों के लिए ठंडक के इंतजाम शुरू हो गए हैं। मौसम को लेकर अति संवेदनशील रहने वाले पक्षियों के खानपान में अब रसीले फल और इलेक्ट्रोलाइट शामिल कर दिए गए हैं। सांप के पिंजरों में भी फव्वारे शुरू हो चुके हैं। शेर, बाघ और भालू के लिए कूलर लग चुके हैं तो सांभर के लिए दलदलीय क्षेत्र तैयार कर दिया गया है।
शहर के कमला नेहरू प्राणी संग्रहालय (चिडिय़ाघर) में हर तरह के पशु-पक्षी के लिए विशेष व्यवस्था की जा रही है। कुछ के बाड़ों में यह कार्य पूरा हो चुका है और कुछ के पिंजरों में यह कार्य जारी है। प्रभारी डा. उत्तम यादव के अनुसार तेज गर्मी में पक्षियों का ध्यान रखना बहुत जरूरी होता है। वे मौसम के प्रति बहुत संवेदनशील होते हैं। वन्यप्राणियों को कृत्रिम तरह से ठंडक प्रदान की जाती हैं। जंगल में वे मौसम के अनुकूल स्थान खुद तलाश लेते हैं इसलिए वहां कृत्रिम साधनों की जरूरत नहीं पड़ती है। तापमान 40 डिग्री सेल्सियस के आसपास पहुंचने पर इस तरह के इंतजाम करना जरूरी हो जाते हैं।
सबसे ज्यादा बदलाव पक्षियों की देखभाल को लेकर किया गया है। पक्षी विहार में दिन में दो बार फव्वारे चलाए जा रहे हैं। ईमू, शुतुरमुर्ग, कैसोवरी के पिंजरों में पानी का छिड़काव किया जा रहा है ताकि हरियाली और ठंडक बनी रही। अन्य पक्षियों के पिंजरों को कपड़े से ढंका गया है और कपड़े पर दिन में दो बार पानी का छिड़काव किया जाता है। पक्षियों को इस मौसम में रसीले फल दिए जाते हैं। उन्हें पानी में इलेक्ट्रोलाइट व मल्टीविटामिन मिलाकर दिया जाता है। फल ताजा ही दिए जाते हैं ताकि खराब फलों से पक्षियों को फंगल इंफेक्शन न हो।
इंदौर
चिडिय़ाघर में कूलर का आनंद ले रहे शेर-भालू, सांप और पक्षियों के लिए लगाए फव्वारे
- 01 Apr 2022