सदस्यों ने कहा- अगर गड़बडिय़ां हुई हैं तो आप जेल जाने को तैयार रहें
इंदौर। इंदौर की 9 हजार सदस्यों वाली और पांच दशक पुरानी श्री छत्रपति शिवाजी साख सहकारी संस्था में करोड़ों की वित्तीय गड़बडिय़ां मिलने के बाद संचालक मंडल को 5 अक्टूबर तक सहकारिता विभाग को अपना पक्ष प्रस्तुत करना है। जबकि दूसरी ओर कई सदस्यों की नाराजगी बढ़ती जा रही है। रविवार को संस्था की साधारण सभा में सदस्यों ने यह मुद्दा उठाया तो संचालकगण सफाई देने लगे, लेकिन इतना हंगामा हुआ कि बीच में ही साधारण सभा को खत्म करना पड़ा।
संचालक मंडल ने बीते सालों में संस्था में जमा सदस्यों के 4.5 करोड़ रु. डिफाल्टर रही पंजाब एण्ड महाराष्ट्र सहकारी को-ऑपरेटिव बैंक में जमा करा दिए। इस बैंक के भुगतानों पर रिजर्व बैंक ने रोक लगा दी है। जिसके चलते शिवाजी संस्था के भी 4.15 करोड़ रु. अटक गए हैं। ऐसे ही कर्ताधतार्ओं ने बिना ठहराव प्रस्ताव के फियकेयर स्माल फाइनेंस बैंक, नागपुर सहकारी बैंक, यश बैंक व कॉसमॉस बैंक में 11 करोड़ से ज्यादा की राशि जमा कर दी। इनमें कॉसमॉस बैंक से भी 1.20 करोड़ रुपए वापस नहीं हुए हैं। मामले में डिप्टी रजिस्ट्रार (को-ऑपरेटिव) एमएल गजभिये ने जांच में लगभग पूरे संचालक मंडल को दोषी पाते हुए नोटिस जारी किए हैं। 5 अक्टूबर को अगर संचालक मंडल संतोषजनक जवाब पेश नहीं करता है तो संस्था का संचालक मंडल कर वहां रिसीवर की नियुक्ति की जा सकती है।
इस बीच संस्था ने रविवार सुबह साधारण सभा आयोजित की जिसमें करीब 70 सदस्य शामिल हुए। इस दौरान सदस्यों ने पहले कुछ मुद्दों पर सवाल किए। फिर संस्था संचालकों के खिलाफ सहकारिता विभाग द्वारा की गई जांच का मामला उठाया तो संचालकों ने कहा कि आप लोग शांत रहे। संस्था के ही कुछ असंतुष्ट सदस्य संस्था को बदनाम कर रहे हैं। इस पर सदस्यों ने कहा कि वे कौन सदस्य हैं, आप उनके नाम क्यों नहीं बताते? क्या सहकारिता विभाग की जांच भी झूठी है? ऐसे कई सवालों में संचालक मंडल को घेरा गया। सदस्यों ने कहा कि अगर गड़बडिय़ां हुई हैं तो आप जेल जाने को तैयार रहे। आप लोग संस्था को क्यों डुबोने पर तुले हो। इस पर पदाधिकारियों ने कहा कि ऐसी कोई बात नहीं है। आप शांति से मामला समझे लेकिन इतना हंगामा हुआ कि फिर साधारण सभा खत्म करनी पड़ी।
इंदौर
छत्रपति शिवाजी संस्था की साधारण सभा में हंगामा
- 27 Sep 2021