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दिल्ली-NCR का प्रदूषण एक दिन में बीमार बना रहा

  • 16 Mar 2023

नई दिल्ली। दिल्ली-एनसीआर में वाहनों से होने वाला प्रदूषण (नाइट्रोजन डाइऑक्साइड) एक दिन में सांस संबंधी परेशानियां बढ़ा देता है। विभिन्न प्रदूषक तत्वों का असर अलग-अलग होता है। यह खुलासा पटेल चेस्ट इंस्टीट्यूट और राष्ट्रीय टीबी अस्पताल ने प्रदूषण बढ़ने पर इमरजेंसी वार्ड में आने वाले मरीजों पर संयुक्त शोध में किया है। यह इस तरह का पहला अध्ययन है। इसके अनुसार, राजधानी की वायु प्रदूषण बढ़ने पर दो दिन के भीतर ही अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में श्वास मरीजों की संख्या बढ़ने लगती है।
प्रदूषण में शामिल तत्वों में नाइट्रोजन डाइऑक्साइड सबसे खतरनाक माना जाता है। अध्ययन में सांस में घरघराहट जैसे लक्षणों का संबंध नाइट्रोजन डाइऑक्साइड के बढ़ने के साथ देखा गया। इसका स्तर बढ़ने के एक दिन बाद ही गंभीर मरीजों की संख्या बढ़ जाती है।
ढाई साल तक दोनों अस्पतालों के इमरजेंसी में आने वाले 61,285 मरीजों की जांच की गई। अध्ययन के लिए 12 हजार ऐसे मरीज चुने गए जो चार हफ्ते से दिल्ली में रह रहे थे और लक्षण दो हफ्ते पहले आने शुरू हुए। दिल्ली के चार स्थानों से प्रदूषण के औसत आंकड़े जुटाए गए। कुल मरीजों में 14 ऐसे थे जिन्हें अस्पताल में भर्ती करना पड़ा।
पीएम 2.5 दो से चार दिन के भीतर आपात वार्ड जाना पड़ा। पीएम 10 चार से सात दिन बाद मरीजों की संख्या में इजाफा हुआ है। ओजोन का स्तर बढ़ने पर पांच से सात दिन के भीतर मरीज बढ़े हैं। नाइट्रोजन डाइऑक्साइड से दो दिन के अंदर इमरजेंसी वार्ड में मरीजों की संख्या बढ़ी है।
साभार लाइव हिंदुस्तान