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जबलपुर

नर्सिंग कॉलेज फर्जीवाड़ा, कोर्ट ने पूछा- कहां गए मूल रिकॉर्ड के 37 हजार पन्ने

  • 08 Jul 2022

 लॉ स्टूडेंट्स एसोसिएशन ने दस्तावेजों की निरीक्षण रिपोर्ट पेश की
जबलपुर। प्रदेश के नर्सिंग कॉलेजों में हो रहे फर्जीवाड़े से जुड़े मामले में गुरुवार को सुनवाई के दौरान एक नया खुलासा हुआ। दरअसल, प्रदेश के 453 नर्सिंग कॉलेजों के मान्यता के समस्त रिकॉर्ड में से 37 हजार 759 पन्ने गायब थे। हाईकोर्ट ने इस पर नाराजगी जाहिर करते हुए राज्य सरकार को यह बताने को कहा है कि आखिर उक्त पन्ने कहां गायब हो गए।
चीफ जस्टिस रवि मलिमठ व जस्टिस विशाल मिश्रा की खंडपीठ ने 11 जुलाई को फिर से सुनवाई करने के निर्देश दिए। अगली सुनवाई पर सरकार को स्पष्टीकरण पेश करना है। गौरतलब है कि लॉ स्टूडेंट्स एसोसिएशन के अध्यक्ष विशाल बघेल ने प्रदेश के फर्जी नर्सिंग कॉलेजों को चुनौती देते हुए एक जनहित याचिका दायर की थी।
पिछली सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट के आदेश के पालन में मप्र शासन द्वारा नर्सिंग काउंसिल में रखे हुए प्रदेश के 453 नर्सिंग कॉलेजों के मान्यता के समस्त रिकॉर्ड कोर्ट में पेश किए गए। हाईकोर्ट ने याचिकाकर्ता को रिकॉर्ड के निरीक्षण की अनुमति दी थी।
संपूर्ण रिकॉर्ड के निरीक्षण के बाद विशाल बघेल ने अपनी निरीक्षण रिपोर्ट कोर्ट में प्रस्तुत की। रिपोर्ट में बताया गया कि नर्सिंग काउंसिल द्वारा कोर्ट में पेश किए गए रिकॉर्ड में से 37759 पन्ने गायब हैं। इनका उल्लेख मान्यता की फाइलों में तो है, लेकिन वास्तिवकता में वो कागज नहीं हैं। नर्सिंग काउंसिल की ओर से ग्वालियर हाईकोर्ट की तर्ज पर शेष 453 नर्सिंग कॉलेजों की जांच के लिए कमेटी बनाने हेतु आग्रह किया गया, लेकिन हाईकोर्ट ने इसे नकार दिया।
चौंकाने वाले हैं खुलासे
याचिकाकर्ता की निरीक्षण रिपोर्ट में कई चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। रिपोर्ट में 80 कॉलेजों की सूची भी पेश की है, जिसमें प्राचार्य एवं अन्य शैक्षणिक स्टाफ को एक ही समय में एक से अधिक संस्थाओं में कार्यरत दर्शाया गया है। ऐसे अनेक कॉलेजों की फोटो पेश की गई है जो एक ही भवन में अलग-अलग पाठ्यक्रमों की मान्यता लेकर कॉलेज संचालित कर रहे हैं।
याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता आलोक वागरेचा ने वर्ष 2020-21 के नर्सिंग कॉलेजों द्वारा ऑनलाइन फार्म में भरे गए शैक्षणिक स्टाफ तथा अन्य दस्तावेज सॉफ्ट कॉपी में मांगे हैं। कोर्ट ने काउंसिल को समस्त रिकॉर्ड का एक्सेस याचिकाकर्ता को प्रदान करने के निर्देश दिए।