इंदौर। आम आदमी पार्टी (आप) इंदौर ने प्रस्तावित बिजली दर बढ़ोत्तरी को रोकने एवं बढ़े हुए बिजली बिलों को वापस लिए जाने की मांग की है। आप के पदाधिकारी और कार्यकर्ताओं ने प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान के नाम इंदौर कलेक्टर को मांग के साथ ज्ञापन भी सौंपा है। मप्र में बिजली महंगी करने का विरोध करते हुए आप दिल्ली का उदाहरण दे रही है।
आम आदमी पार्टी ने कहा कि मध्य प्रदेश में पहले से ही उपभोक्ताओं को महंगी बिजली मिल रही है। अब सरकार बिजली कंपनी के साथ सांठगांठ करके पहले से ही लोगों को लूट रही है अब जबकि लगभग 15 महीने से लोग दो वक्त की रोटी के लिए संघर्ष कर रहे हैं। ऐसे वक्त में बिजली के दामों में बढ़ोत्तरी अमानवीय है। पार्टी ने ज्ञापन में लिखा कि दिल्ली की आम आदमी पार्टी की सरकार 200 यूनिट तक बिजली हर व्यक्ति को मुफ्त दे रही है तथा 400 यूनिट तक आधे दाम हैं। जबकि सब यह भी जानते हैं कि बिजली का उत्पादन दिल्ली में नहीं होता बल्कि वहां पर जो बिजली लोगों को प्राप्त कराई जाती है। वह मध्य प्रदेश से खरीद कर दी जाती है फिर भी वहां पर लोगों को बिजली कम दाम में उपलब्ध कराई जा रही है जबकि मध्यप्रदेश में बिजली का उत्पादन भी होता है तथा प्रदेश में बिजली उत्पादन सरप्लस होने के बावजूद भी मध्य प्रदेश के अंदर 200 यूनिट बिजली के लगभग 1500 रुपये और 400 यूनिट के लगभग 3200 रुपये वसूले जाते हैं। लगभग 15 माह से लोगों की व्यापार से आमदनी न के बराबर हुई है बल्कि लोगों को नुकसान हुआ है। ऐसे में भी बंद दुकानों से भी बिजली की मोटी रकम व्यवसायिक दर पर वसूली जा रही है। यह सरासर लूट है। ठीक इसी तरह से कृषि कार्य में जो बिजली का उपयोग होता है। सरकार द्वारा एक तो किसानों को कम बिजली दी जा रही है। ऊपर से कृषि वाली बिजली भी महंगी कर दी गई है।
आम जनता अत्याधिक महंगाई, बेरोजगारी और कोरोना इलाज से पहले ही आर्थिक रूप से परेशान है। उस पर संभावित बिजली दर बढ़ोत्तरी का बोझ उन्हें परेशान करेगा। गरीब जरुरतमंदों को बिजली मुफ्त उपलब्ध कराई जाए जैसा कि दिल्ली की आम आदमी पार्टी (आप) की सरकार कर रही है। अगर बिजली के दाम बढ़ते है तो आप सड़क पर उतर कर जनहित में विरोध प्रदर्शन करेगी। कोविड नियमों का पालन करते हुए ज्ञापन देने वालों में एसपी दुबे, जयप्रकाश गुगरी, हेमंत जोशी, सईद अहमद, प्रमिला चौकसे सहित अन्य कार्यकर्ता मौजूद थे।
इंदौर
बिजली दर बढ़ोत्तरी पर रोक लगाने की मांग
- 28 Jun 2021