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ब्रिटेन से G-7 की बैठक में शामिल होने का न्योता भारत के लिए बड़ी जीत?

  • 16 Dec 2020

ब्रिटेन ने G-7 समूह की आगामी बैठक में शामिल होने के लिए भारत को भी निमंत्रण भेजा है. ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन खुद भी 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस परेड में मुख्य अतिथि के तौर पर शामिल होंगे. डाउनिंग स्ट्रीट ने कहा है कि ब्रिटेन प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने भारत, ऑस्ट्रेलिया और दक्षिण कोरिया को आगामी जी-7 समिट में शामिल होने के लिए पत्र लिखा है. इस बैठक की मेजबानी ब्रिटेन ही करने वाला है.
विश्लेषकों का कहना है कि जी-7 के सदस्य देश और भारत-ऑस्ट्रेलिया-दक्षिण कोरिया मिलकर विस्तारवादी और आक्रामक चीन को काउंटर करेंगे. चीन के लिए लोकतांत्रिक देशों का ये समूह तगड़ी चुनौती पेश करेगा. एक्सपर्ट जी-7 की बैठक में भारत को आमंत्रित किए जाने को एक बड़ी उपलब्धि भी करार दे रहे हैं.
ब्रिटिश प्रधानमंत्री भारत-ब्रिटेन की दोस्ती को मजबूत करने के लिए अगले महीने यानी गणतंत्र दिवस के मौके पर भारत के मेहमान भी बनेंगे. जॉनसन दूसरे ऐसे ब्रिटिश प्रधानमंत्री हैं जो गणतंत्र परेड में शामिल होंगे. इससे पहले, साल 1993 में ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री जॉन मेजर गणतंत्र दिवस की परेड का हिस्सा बने थे. ब्रेग्जिट के बाद ब्रिटेन अपनी विदेश और सुरक्षा नीति में इंडो-पैसिफिक पर जोर दे रहा है और इसलिए भारत उसके लिए काफी अहम हो गया है. 
जॉनसन ने भारत के निमंत्रण को स्वीकार करने के बाद कहा, ब्रिटेन के लिए एक रोमांचक वर्ष की शुरुआत में अगले साल भारत आने पर मुझे खुशी हो रही है, हम अपने द्विपक्षीय संबंधों को विस्तार देने के लिए तत्पर हैं. उन्होंने कहा कि इंडो-पेसिफिक क्षेत्र में एक प्रमुख खिलाड़ी के रूप में, भारत ब्रिटेन के लिए एक अहम साझेदार है क्योंकि हम नौकरियों और विकास को बढ़ावा देने के लिए काम करते हैं और सुरक्षा के लिए खतरों का मिलकर सामना करते हैं. प्रधानमंत्री बनने के बाद बोरिस जॉनसन का ये पहला अहम द्विपक्षीय दौरा होगा.
डाउनिंग स्ट्रीट ने अपने बयान में कहा है कि यूरोपीय यूनियन से ब्रिटेन के अलग होने के बाद बोरिस जॉनसन का ये पहला द्विपक्षीय दौरा है और इससे इंडो-पैसेफिक को लेकर ब्रिटेन की गंभीरता और प्रतिबद्धताओं का पता चलता है. 
credit- aajtak