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इंदौर

ब्रह्म योग, चित्रा नक्षत्र, रवि योग में विराजेंगे विघ्नहर्ता, दस दिन गणेश पूजन करने से महालक्ष्मी होगी प्रसन्न

  • 07 Sep 2021

इंदौर। भाद्रपद के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी गणेश चतुर्थी कहलाती है। इस बार 10 सितम्बर शुक्रवार को गणेश जी की स्थापना शुभ मुहूर्त में होगी। समापन 19 सितम्बर अनंत चतुर्दशी पर होगा। इस बार गणेश स्थापना के दिन कई शुभ योग मुहूर्त है जिनकी साक्षी में गणेश जी की स्थापना की जाएगी। मां शीतला संस्कृत पाठशाला के आचार्य अंकित मार्कण्डेय ने बताया कि इस बार ग्रह, नक्षत्र व पंचांग की श्रेष्ठ स्थिति में गणेश स्थापना होगी। 10 सितंबर को चित्रा-स्वाति नक्षत्र के साथ रवियोग रहेगा। शुक्रवार के दिन चित्रा नक्षत्र, ब्रह्म योग, वणिजकरण व सूर्य सिंह में तुला के चंद्रमा की साक्षी में आ रही है। गणेश चतुर्थी पर गणेश पूजन से सभी को लाभ मिलेगा। साथ ही सारे दु:ख दर्द भगवान श्री गणेश हर लेंगे। आपको बता दें कि वणिज करण की स्वामिनी माता लक्ष्मी हैं। अर्थात गणेश के साथ माता लक्ष्मी का आगमन होगा। गणेश जी का 10 दिन पूजन करने से महालक्ष्मी की कृपा भी प्राप्त होगी। भगवान गणेश रिद्धि सिद्धि व शुभ लाभ के प्रदाता माने गए हैं। इस बार चतुर्थी पर पांच ग्रह अपनी श्रेष्ठ स्थिति में विद्यमान रहेंगे। इनमें बुध कन्या राशि में, शुक्र तुला राशि में, राहु वृषभ राशि में, केतु वृश्चिक राशि तथा शनि मकर राशि में विद्यमान रहेंगे।
ऐसे करे पूजन
गणेश चतुर्थी के दिन अपने घर पर परिवार सहित विधिवत पूजन करे, विद्वत ब्राह्मण, गुरु को बुला कर गणेश पूजन कर स्थापना करे। शुद्ध जल, पंचामृत से स्नान कराएं। पीतल, तांबे या अष्टधातु की मूर्ति का, मौली, यज्ञोपवित, चंदन, अक्षत, दूर्वा, पुष्प, माला, धूप, दीप, नैवेद्य लड्डू दक्षिणा और उनका पसंदीदा भोग मोदक अर्पित करे। जब तक गणपति घर में रहें, उस दौरान गणेश चतुर्थी की कथा, गणेश पुराण, गणेश चालीसा पढ़े।
स्तोत्र के पाठ से हर संकट होगा दूर
गणेश स्तुति, श्रीगणेश सहस्रनामावली, गणेश अथर्वशीर्ष, संकटनाशन गणेश स्तोत्र आदि का पाठ करें। गणपति के महामंत्र ऊं गं गणपतये नम:
का जाप करे। साथ ही रोजाना सुबह और शाम किसी एक निर्धारित समय पर आरती करें। माना जाता है कि ऐसा करने से गणपति परिवार के सभी विघ्न दूर करते हैं।
गणेश पूजन स्थापना शुभ मुहूर्त
प्रात: 07.45 से 09.18 लाभ
प्रात: 09.18 से 10.51 अमृत
प्रात: 11.49 से 12.48 अभिजीत मुहूर्त
दोपहर 12.24 से 01.57 शुभ
सांय 06.23 से 06.47 गोधूली
रात्रि 09.30 से 10.57 लाभ