वास्तु विद्वानों के अनुसार घर से वास्तुदोष दूर करने और उसके इंटिरियर में सुधार लाने से सुख-शांति और खुशहाल वातावरण स्थापित किया जा सकता है। कुछ ऐसे नियम हैं, जिन्हें फॉलो करने से घर में खुशियों को खुला निमंत्रण दिया जा सकता है। घर की वस्तुओं को ठीक से रखने या कुछ को हटाने से वास्तु दोष खत्म होता है। वास्तु में ऐसी व्यवस्था है कि घर में सकारात्मक ऊर्जा बनी रहे।
- यदि आपके घर में भी टूटे-फूटे बर्तनों की भरमार है तो तुरंत उन बर्तनों को हटा देना चाहिए, इससे वास्तु दोष उत्पन्न होता है। आपके कमरे में भी यदि कोई टूटा हुआ पलंग काफी समय से स्थान घेरे हुए है तो उसको तुरंत वहां से हटा दें क्योंकि इससे आपके वैवाहिक जीवन में कष्ट आ सकता है।
घर में टूटे हुए कांच की वजह से परिवार के लोगों को मानसिक कष्ट झेलना पड़ता है।
रुका हुआ समय यानी बंद घडिय़ां घर के लोगों की उन्नति में बाधक सिद्ध होती हैं। उन्हें बनवा कर घर में रखें या फैंक दें। - सप्ताह में एक बार घर में गंगाजल को अवश्य छिड़कें। गाय के गोबर के कंडे और कपूर का धुआं भी समय-समय पर देते रहें, इससे घर में सकारात्मकता बनी रहेगी।
- भोजन सदा पूर्व या उत्तर की ओर मुख करके ग्रहण करना चाहिए। पश्चिम या दक्षिण की ओर मुंह करके भोजन कभी नहीं करना चाहिए। यह दूषित होता है और रोग देता है।
- सीढिय़ां कभी भी दक्षिण, पश्चिम की दिशा में नहीं खत्म होनी चाहिएं।
- मीठे संबंध स्थापित करने के लिए घर आए गेस्ट को उत्तर या पश्चिम की ओर बने कमरे में ठहराएं।
- फस्र्ट एड बॉक्स को उत्तर-उत्तर-पूर्व दिशा में रखें।
- घर को हमेशा साफ रखें मकड़ी के जाले, धूल-गंदगी न रहने दें। इसस घर में बैडलक बना रहता है।
- पार्किंग के लिए उत्तर-पश्चिम दिशा शुभ होती है।
- घर की खुशहाली के लिए सुंदर फूल और पौधे लगाएं। जब ये सूखने लगें तो उन्हें निकाल दें। कंटीली झाडिय़ों वाले पौधों से घर न सजाएं।
- खराब इलेक्ट्रानिक्स को घर में न रखें।